किसानों की मेहनत पर पानी फेर रहे आवारा पशु, ग्रामीणों ने ग्राम प्रधान पर लगाए गंभीर आरोप

बांगरमऊ तहसील क्षेत्र इलाके में इस चिलचिलाती और धधकती धूप में किसान खेतों में बोई गई फसल की रखवाली करने के लिए खेतों में माचा डालने पर मजबूर है। ग्राम पंचायत भिखारीपुर पतसिया में तालाब की जगह में बने गौशाले की दुर्दशा देखकर आप भी हैरान हो जाएंगे।

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उन्नाव: यूपी के उन्नाव में आवारा पशुओं ने क्षेत्र में आतंक मचाया हुआ है। यह आवारा पशु किसानों की मेहनत पर पानी फेरने में लगे है। किसानों ने ग्राम प्रधान पर आरोप लगाते हुए ग्राम पंचायत में बने गौशाले से देर रात गौवंशो को छोड़ दिया जाता है। जिसके जिम्मेदार ग्राम प्रधान रामसच्चे है। जो गौशाला में बंद गायों के चारे पानी की व्यवस्था न कर पाने में असक्षम है। उन्हें सिर्फ किसानों की फसलों का सफाया करने के लिए ही छोड़ा जाता है।

बता दें कि बांगरमऊ तहसील क्षेत्र इलाके में इस चिलचिलाती और धधकती धूप में किसान खेतों में बोई गई फसल की रखवाली करने के लिए खेतों में माचा डालने पर मजबूर है। ग्राम पंचायत भिखारीपुर पतसिया में तालाब की जगह में बने गौशाले की दुर्दशा देखकर आप भी हैरान हो जाएंगे। ग्राम प्रधान की हीला हवाली कहें या फिर सरकार की बदहाली इस पर किसानों की राय क्या है। यह समझने के लिए पूरी खबर को देखिए की धरातल की सच्चाई कुछ इस तरह से है।

ग्रामीण इलाके में आवारा पशुओं से किसान परेशान है। रात में गौशाला से निकलता है झुंड, अच्छे मानसून के बावजूद भी किसानों को रातों की नींद और दिन का चैन मुहाल है। गौशाला सिर्फ नाम दर्शक बनी हुई हैं। जहां आपको 20 गौवंशो से ज्यादा नहीं मिलेंगे, गोवंश को सेल्टर हाउस में भेजने के योगी आदित्यनाथ के अल्टीमेटम की मियाद भी पूरी हो गई है ।लेकिन समस्या जस की तस है। जैसे खेत, खलिहान, अस्पताल ,स्कूल बाजार में बदस्तूर जारी है गोवंश का उत्पात।
 

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