चैत्र महीने की पावन नवमी तिथि पर, रविवार को संपूर्ण ब्रह्मांड के नायक भगवान श्रीराम के जन्मोत्सव का भव्य आयोजन अयोध्या में किया गया। प्रभु श्रीराम के अवतरण के इस पवित्र क्षण के साक्षी बनने के लिए लाखों श्रद्धालु अयोध्या धाम में जुटे। राम मंदिर से लेकर वैष्णव परंपरा के सभी मंदिरों में श्रीराम जन्म महोत्सव की धूम रही। दोपहर ठीक 12 बजे, जब मंदिर में घंटा-घड़ियाल और नगाड़ों की गूंज सुनाई दी, उसी क्षण रामलला का दिव्य प्राकट्य हुआ। भगवान श्रीराम की प्राकट्य आरती पूरे भक्ति भाव से की गई और सूर्य की किरणों से उनका मस्तकाभिषेक यानी 'सूर्य तिलक' किया गया।