Shehbaz Sharif Awkward Moment: तुर्कमेनिस्तान में पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ अपनी बेइज्जती करवा बैठे। 40 मिनट के इंतजार के बाद जब रूस के राष्ट्रपति पुतिन नहीं पहुंचे तो पाक पीएम जबरदस्ती मीटिंग में पहुंच गए। 

Pakistan PM Awkward Moment Video: पाकिस्तानी प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ (Shehbaz Sharif) एक बार फिर अपनी भद्द पिटवा बैठे हैं। इंटरनेशनल फोरम पर उनकी गजब बेइज्जती हुई है। तुर्कमेनिस्तान में आयोजित इंटरनेशनल फोरम ऑन पीस एंड ट्रस्ट में पाकिस्तान के पीएम शहबाज शरीफ और रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की मीटिंग होने वाली थी. लेकिन यह मुलाकात अपने तय समय पर नहीं हुई। रिपोर्ट्स के अनुसार, शहबाज शरीफ करीब 40 मिनट तक इंतजार करते रहे और पुतिन किसी और बैठक में बिजी थे। जब इंतजार करते-करते पाक प्राइम मिनिस्टर का धैर्य जवाब दे गया तो वह जबरन मीटिंग हॉल में पहुंच गए, ताकि कम से कम कुछ बातचीत हो सके। वे करीब 10 मिनट बाद वहीं से निकल गए। यह वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है।

पाकिस्तान प्रधानमंत्री के बेइज्जती वाला वीडियो

सोशल मीडिया पर वायर वीडियो में देखा जा सकता है कि शहबाज शरीफ बैठे-बैठे बेचैन नजर आए और उनके साथ विदेश मंत्री इशाक डार और अन्य कैबिनेट सदस्य भी मौजूद थे। सोशल मीडिया यूजर्स ने इस घटना को डिप्लोमैटिक मिसस्टेप के रूप में देखा और चर्चा शुरू हो गई।

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पहले भी पाकिस्तानी पीएम की हो चुकी है इंटरनेशनल बेइज्जती

यह पहली बार नहीं है, जब शहबाज और पुतिन की मुलाकात में ऐसा कुछ देखा गया। साल 2022 में चीन में SCO समिट के दौरान भी एक ऐसा ही वाकया हुआ था, जब शहबाज शरीफ को अपने ईयरफोन को एडजस्ट करने में समस्या आई थी। बाद में पुतिन ने खुद उन्हें सही तरीके से ईयरफोन पहनने में मदद की। इसी साल 31 अगस्त को चीन में आयोजित SCO समिट की औपचारिक फोटो सेशन के बाद भी ऐसा ही कुछ देखने को मिला, जब पुतिन और जिनपिंग साथ-साथ बाहर निकले। तभी पीछे से अचानक पाक पीएम आगे आ गए और पुतिन की तरफ हाथ बढ़ाया। जिनपिंग ने तो इसे पूरी तरह नजरअंदाज किया लेकिन बाद में पुतिन ने वापस आकर उनसे हाथ मिलाया।

पुतिन-एर्दोगन मीटिंग में क्या हुआ?

पुतिन तुर्की के राष्ट्रपति रेजेप तैय्यप एर्दोगन के साथ बैठक कर रहे थे। एर्दोगन ने कहा कि युद्ध को खत्म करने के लिए प्रयास जरूरी हैं और ऊर्जा सुविधाओं और बंदरगाहों पर सीमित युद्धविराम फायदेमंद हो सकता है। दोनों नेताओं ने काले सागर में रूस से जुड़े टैंकरों पर हमलों और यूरोपीय संघ द्वारा रूसी संपत्तियों को फ्रीज़ करने जैसे मुद्दों पर चर्चा की। एर्दोगन ने कहा कि तुर्की किसी भी प्रारूप में वार्ता की मेजबानी करने के लिए तैयार है।