सार
सोशल मीडिया पर कुछ वीडियो ऐसे होते हैं जो रोंगटे खड़े कर देते हैं। ऐसी जगहें देखकर लगता है कि क्या सच में धरती पर ऐसी जगहें हैं? एक महिला घने जंगल में एक गुफा जैसी जगह में जाती है। वहाँ उसे एक नई दुनिया मिलती है। उस महिला ने वहाँ क्या देखा, इसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। लोग कमेंट कर रहे हैं कि क्या इस रहस्यमयी गुफा में ऐसी अद्भुत दुनिया है? आजकल लोग जहाँ भी जाते हैं, वहाँ का वीडियो बनाकर शेयर करते हैं।
कुछ लोग देश-विदेश घूमकर वहाँ की जगहों को दुनिया को दिखाते हैं। ऐसे व्लॉगर्स ऐसी जगहों पर जाते हैं जहाँ कोई नहीं गया होता। कभी-कभी वे खतरनाक जगहों पर भी जाते हैं। यह वायरल वीडियो इंस्टाग्राम पर @undergroundbirmingham नाम के अकाउंट से शेयर किया गया है। यह अकाउंट सदियों पुरानी गुफाओं और बंकरों के बारे में जानकारी देता है। ये अपने दर्शकों को अद्भुत दुनिया से रूबरू कराते हैं।
अंडरग्राउंड बर्मिंघम पेज के सदस्यों ने एक अद्भुत गुफा दिखाई है। गुफा के अंदर का नज़ारा आपको हैरान कर देगा। गुफा के अंदर की चीज़ें देखकर लगता है कि यहाँ पहले लोग रहते थे। लेकिन ये लोग कहाँ गए, यह पता नहीं चला।
वायरल वीडियो में क्या है?
वीडियो में एक महिला गुफा में जाती दिख रही है। अंदर जाकर देखती है तो यह किसी घर जैसा दिखता है। पहले फ्रिज वगैरह जैसी कुछ रोजमर्रा की चीज़ें दिखती हैं। गुफा के दाईं ओर सीढ़ियाँ दिखती हैं। महिला सीढ़ियों से नीचे उतरती है। फिर अंदर संकरी गलियां और सीढ़ियाँ हैं। महिला जहाँ तक जा सकती है, वहाँ तक जाती है।
पाँच दिन पहले पोस्ट किए गए इस वीडियो को लाख से ज़्यादा लाइक्स और हज़ारों कमेंट मिले हैं। वीडियो का शीर्षक है "हमने गुफा में छिपे एक परित्यक्त घर को ढूंढ निकाला"। इस वीडियो पर लोगों ने कमेंट करके पूछा है कि यह रहस्यमयी जगह कहाँ है? यह वीडियो देखकर मैं तो एक पल को खो ही गया? यह सच में एक अद्भुत दुनिया है।
पाताल लोक में उतर गए!
कुछ दिन पहले सोशल मीडिया पर कुछ साहसी युवक पहाड़ पर एक गहरी गुफा में उतरे थे। सिर पर कैमरा लगाकर उतरने वाले लोग थोड़ी दूर ही जा पाते हैं। आगे गर्दन तक पानी आ जाता है और वे डरकर वापस आ जाते हैं। भारत में भी ऐसी कई खतरनाक गुफाएँ हैं।
धरती पर पाताल लोक
चीन के गुइझोउ प्रांत में 1800 मीटर की ऊँचाई पर स्थित झोंगडोंग गाँव है। यहाँ हज़ारों लोग रहते थे। 2008 में चीन सरकार ने यहाँ का स्कूल बंद कर दिया, यह कहते हुए कि गुफा में रहना चीनी सभ्यता का हिस्सा नहीं है। 2008 के बाद यहाँ के लोग आसपास के गाँवों में रहने लगे।