Biggest cyber fraudsters in Mewat area : राजस्थान के मेवात इलाके में साइबर ठगी का बोलबाला है। भरतपुर और धौलपुर के कई गांवों में पुलिस भी जाने से कतराती है। हजारों लोग इस धंधे में शामिल हैं, और पुलिस के लिए ये बड़ी चुनौती है।

 Biggest cyber fraudsters in Mewat area : राजस्थान के मेवात क्षेत्र के कई गांव अब “साइबर ठगी के गढ़” के रूप में कुख्यात होते जा रहे हैं। भरतपुर, धौलपुर और करौली जिलों के कुछ खास इलाकों में ऐसे गिरोह सक्रिय हैं, जिनके ठगी के तरीके लगातार पुलिस और साइबर एक्सपर्ट्स के लिए चुनौती बनते जा रहे हैं। हालत यह है कि पुलिस भी इन गांवों में अभियान चलाने से पहले विशेष तैयारी करती है।

भरतपुर के कुख्यात गांव

आलीशान मकान, फर्जीवाड़े से बनी दौलत भरतपुर जिले के सीकरी थाना क्षेत्र का रायपुर सुकेती गांव साइबर ठगी का बड़ा केंद्र बन चुका है। ठगी के पैसों से बने आलीशान मकानों की भरमार है। हाल ही में पुलिस ने एक ऐसे घर को तोड़ा है, जो पूरी तरह ठगी की रकम से बनाया गया था। इसके अलावा नगर, खोह, कामां, जुरहरा, गढ़ी और गांवड़ी जैसे गांव भी पुलिस की लिस्ट में हैं, जहां से ठगों की सक्रियता लगातार सामने आ रही है।

पुलिस ने चलाया “ऑपरेशन एंटी वायरस”

धौलपुर में ऑपरेशन एंटी वायरस धौलपुर जिले के मनियां थाना क्षेत्र में पुलिस ने हाल ही में “ऑपरेशन एंटी वायरस” चलाकर 12 साइबर ठगों को पकड़ा है। इनके पास से सैकड़ों सिम कार्ड, फर्जी आधार कार्ड, मोबाइल फोन और बैंक दस्तावेज बरामद किए गए हैं। गिरोह देश के विभिन्न हिस्सों में ठगी के लिए इन फर्जी दस्तावेजों का उपयोग करता था।

करौली भी साइबर रडार पर

 हालांकि करौली जिले के किसी विशेष गांव का नाम सामने नहीं आया है, लेकिन यह क्षेत्र भी मेवात में आता है और पुलिस की नजर में है। यहां से साइबर धोखाधड़ी से जुड़े इनपुट मिलते रहे हैं।

8 हजार से ज्यादा लोग संलिप्त

पुलिस सूत्रों के अनुसार, भरतपुर रेंज के करीब 150 गांवों में लगभग 8,000 लोग साइबर ठगी से जुड़े हुए हैं। ये लोग फर्जी आईडी, बैंक खाते और सिम का इस्तेमाल कर देशभर में ठगी करते हैं।