सार
गुरुग्राम। इस वक्त लोगों के बीच एआई इंजीनियर अतुल सुभाष की आत्महत्या का मामला लगातार सुर्खियों में बना हुआ है। इस केस में अब गुरुग्राम पुलिस भी निशाने पर आती हुई दिखाई दे रही है। उन पर कई गंभीर आरोप लगाए गए हैं। ये आरोप आरोपी निकिता के वेरिफिकेशन में देरी होने के चलते लगे हैं। ये आरोप पुलिस पर उस केयर टेकर ने लगाया है, जिसके पीजी में निकिता रहने के लिए आई थी। केयर टेकर का कहना है कि जिस दिन आरोपी निकिता ने रूम लिया था उसी दिन उसकी आईडी के साथ वेरिफिकेशन के लिए वो सेक्टर-56 थाने गया था। लेकिन कोई भी कार्रवाई उस वक्त नहीं की गई।
एक अधिकारी ने केयर टेकर को बताया कि वह दो दिन से छुट्टी पर चल रहे थे। निकिता ने यहां तीन महीने रहने का इरादा बनाया था। उसने पीजी का लग्जरी रूम शेयरिगं के लिए लिया था। एक महीने का किराया 20 हजार रुपये और सिक्युरिटी मनी उन्होंने पहले से ही दे दी थी। वेरिफेशन फॉर्म और पीजी के रजिस्ट्रेशन में एंट्री के लिए उसने आधार कार्ड और बाकी आईडी दी थी। सारी चीजें होने के बाद उसने अपना सामान वहां पर रखा था। हांगकांग मार्केट से भी वो कुछ सामान खरीदकर लेकर आई थी।
पुलिस ने दी देरी को लेकर सफाई
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि बंगलुरू पुलिस ने आरोपी निकिता को गिरफ्तार कर लिया है। सेक्टर-56 थाना पुलिस ने सब-इंस्पेक्टर मनोज कुमार की टीम ने यहां से केयर सूरज और गुड्डू से निकिता को लेकर बात की थी। आठ दिसंबर को निकिता यहां आई, उसी दिन सारी चीजें वेरिफिकेशन के लिए सेक्टर-56 थाने में भेज दिया था। लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई। सुसाइड मामला सामने आने के बाद पुलिस अलर्ट हुई है। गुड्डू ने बताया कि उसने अगले दिन पीजी पहुंचे सब-इंपेक्टर मनोज कुमार की टीम को उसी दिन वेरिफिकेशन ने करने की बात कही तो उन्होंने कहा कि वो दिन से छुट्टी पर थे।