सार
खून से सनी लड़की बीच सड़क पर रोती बिलखती रही। उसकी सहेली ने राहगीरों ने हाथ जोड़कर मदद भी मांगी लेकिन किसी का दिल नहीं पसीजा। आखिर में सेहली ने अपनी एक दोस्त को फोन कर 10 किलोमीटर दूर से बुलाया। जिसके बाद दोनों सहेलियों ने घायल युवती को स्कूटी पर बीच में बैठाया और उसके कटे हाथ को एक बैग में रखा। इसके बाद वह कटे हाथ के साथ 8 किमी चलकर बारां जिला हॉस्पिटल पहुंची।
बारां. राजस्थान से एक दर्दनाक हादसे की खबर सामने आई है। जहां बस में सफर कर रही एक कॉलेज छात्रा का एक हाथ ट्रैक्टर-ट्राली की चपेट में आने से कटकर सड़क पर जा गिरा। खून से सनी लड़की रोती-बिलखती रही, लेकिन बस ड्राइवर को उस पर दया नहीं आई। वह पीड़िता और उसकी सहेली को बीच रास्ते में उतार कर चलते बना। इतना ही नहीं यात्रा कर रहे अन्य यात्री भी उसकी मदद करने के लिए आगे नहीं आए। इन सबके बाद भी पीड़िता ने हिम्मत नहीं हारी।
कटे हाथ को बैग में रखकर अस्पताल ले गईं सहेली
खून से सनी लड़की बीच सड़क पर रोती बिलखती रही। उसकी सहेली ने राहगीरों ने हाथ जोड़कर मदद भी मांगी लेकिन किसी का दिल नहीं पसीजा। आखिर में सेहली ने अपनी एक दोस्त को फोन कर 10 किलोमीटर दूर से बुलाया। जिसके बाद दोनों सहेलियों ने घायल युवती को स्कूटी पर बीच में बैठाया और उसके कटे हाथ को एक बैग में रखा। इसके बाद वह कटे हाथ के साथ 8 किमी चलकर बारां जिला हॉस्पिटल पहुंची। डॉक्टरों ने तत्काल लड़की को इमरजेंसी वार्ड में भर्ती कर दिया है।
एक झटके में बाजू कटकर सड़क पर जा गिरा
दरअसल, बारां जिले के मांगरोल की रहने वाली 18 साल की लड़की ज्योति बीए फर्स्ट ईयर में स्टडी कर रही है। वह बुधवार को अपनी सहेली के साथ कॉलेज गई थी। शाम करीब 7 बजे बारां डिपो की रोडवेज बस से दोनों घर लौट रही थीं। जहां ज्योति ने खिड़की से हाथ बाहर निकाल रखा था। तभी तेज रफ्तार में बगल से ट्रैक्टर ट्रॉली निकलीं। ट्रॉली में लगी लोहे की एंगल में उसका हाथ चपेट में आ गया और बाजू कटकर सड़क पर जा गिरा।
हाथ तो नहीं जोड़ा सका..लेकिन लड़की की जान बच गई
हाथ कटते ज्योति खून से लथपथ हो गई। वह जोर-जोर से चीखने चिल्लाने लगी, देखते ही देखते यात्रियों में हंगामा मच गया। ड्राइवर ने बस रोक दी, लेकिन उसकी कोई मदद नहीं की। ड्राइवर ने लहूलुहान ज्योति और उसकी सहेली को उतार दिया और बस लेकर वहां से रवाना हो गया। घटनास्थल पर पड़ा हाथ और दर्द से बिलखती लड़की को देखने के बाद भी किसी ने मदद नहीं की। ज्योति की सहेली ने उसकी दूसरी सहेली प्रमिला को फोन कर स्कूटी के साथ बुलाया। दोनों सहेलियों ने खून से लथपथ ज्योति के हाथ पर कपड़ा बांधकर खून रोकने की कोशिश की। लेकिन खून बहता ही गया। वहीं दूसरे हाथ पर पॉलिथीन बांधकर अस्पताल तक लेकर गईं। युवती की हालत गंभीर होने के चलते उसे कोटा रेफर कर दिया। उसकी जान तो बच गई, लेकिन हाथ नहीं जोड़ा जा सका।