सार

अमेरिका ने 104 अवैध भारतीय प्रवासियों को वापस भारत भेज दिया है। इनमें कई युवा और बच्चे भी शामिल हैं, जो डंकी रूट से गए थे। हरियाणा और गुजरात से सबसे ज़्यादा लोग हैं।

Indian immigrants in US: अमेरिका में डोनाल्ड ट्रंप के राष्ट्रपति पद संभालते ही अवैध प्रवासियों को बाहर निकालने की कार्रवाई तेज हो गई है। हजारों भारतीयों पर भी कार्रवाई हो रही है। अमेरिका ने 104 भारतीयों को वापस भेजा है। पहली खेप में भेजे गए अवैध प्रवासियों में 48 भारतीयों की उम्र तो 25 साल से भी कम है। अवैध प्रवासियों में सबसे अधिक संख्या हरियाणा और गुजरात की है। पंजाब के भी 30 लोग वापस आने वालों में है। डंकी रूट से इनको वहां भेजा गया था। बुधवार को 104 अवैध भारतीय प्रवासियों (Illegal Indian Immigrants) को विशेष सैन्य विमान (US Military Aircraft) के जरिए भारत भेजा गया। यह विमान अमृतसर के श्री गुरु राम दास जी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे (Sri Guru Ram Dass Jee International Airport) पर उतरा।

हरियाणा और गुजरात से सबसे ज्यादा लोग

अमेरिका से निर्वासित किए गए इन भारतीय नागरिकों में हरियाणा और गुजरात व पंजाब के सबसे अधिक लोग हैं। गुजरात और हरियाणा के 33-33 लोग तो पंजाब के 30 लोगों को अवैध प्रवास के आरोप में वापस भेजा गया है। इसके अलावा, महाराष्ट्र से तीन, उत्तर प्रदेश और चंडीगढ़ से दो-दो नागरिक शामिल हैं। ये लोग अवैध ढंग से अमेरिका में रह रहे थे। कुछ डंकी रूट से वहां गए थे तो कुछ वीजा खत्म होने के बाद भी वहां रह रहे थे।

48 की उम्र 25 साल से कम, 12 नाबालिग

अमेरिका से भेजी गई पहली खेप में 104 अवैध प्रवासी भेजे गए हैं। इनमें से 25 महिलाएं हैं। 12 नाबालिग भी इस ग्रुप में हैं जिसमें सबसे छोटा बच्चा महज चार साल का है जिसे वापस भेजा गया है।

इन 104 में से 48 लोग 25 वर्ष से कम उम्र के हैं। सैन एंटोनियो, टेक्सास (San Antonio, Texas) से रवाना हुए इस विशेष सी-17 विमान (C-17 Aircraft) में 11 क्रू मेंबर और 45 अमेरिकी अधिकारी मौजूद थे जो निर्वासन प्रक्रिया की निगरानी कर रहे थे।

ट्रंप सरकार की सख्ती, मोदी की यात्रा से पहले कार्रवाई

अमेरिकी प्रशासन ने अवैध प्रवासियों को सैन्य विमान से वापस भेजने की व्यवस्था की है। राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) ने कहा: हम पहली बार इतिहास में अवैध अप्रवासियों को ढूंढकर सैन्य विमानों से वापस भेज रहे हैं।

भारत ने जताई सहमति लेकिन प्रवासियों को लेकर चिंता

विदेश मंत्री एस. जयशंकर (S. Jaishankar) ने अमेरिकी विदेश मंत्री मार्को रुबियो (Marco Rubio) से मुलाकात में साफ किया कि भारत अवैध रूप से विदेशों में रह रहे भारतीय नागरिकों की वैध वापसी (Legitimate Return) के लिए तैयार है। हालांकि, पंजाब सरकार ने इस फैसले पर नाराजगी जताई है। पंजाब के एनआरआई मामलों के मंत्री कुलदीप सिंह धालीवाल (Kuldeep Singh Dhaliwal) ने कहा कि ये भारतीय नागरिक अमेरिका की अर्थव्यवस्था में योगदान दे रहे थे, इन्हें निर्वासित करने के बजाय स्थायी निवास (Permanent Residency) दिया जाना चाहिए था।

डंकी रूट से पहुंचे थे कई लोग, अब सख्त कार्रवाई का सामना

अमेरिका में अवैध रूप से रह रहे भारतीयों की संख्या करीब 7.25 लाख है, जो मेक्सिको (Mexico) और अल सल्वाडोर (El Salvador) के बाद तीसरा सबसे बड़ा समूह है। भारत के हजारों लोग वर्षों से अमेरिका में अवैध रूप से रह रहे थे जिनमें से अधिकतर डंकी रूट (Donkey Route) के जरिए वहां पहुंचे थे। इस प्रक्रिया में लोगों ने दलालों को लाखों रुपये दिए थे।

ट्रंप प्रशासन ने राष्ट्रपति चुनाव जीतने के बाद अवैध प्रवासियों पर शिकंजा कसने की घोषणा की थी। अब इस फैसले के बाद हजारों भारतीयों की अमेरिका में प्रवास पर सवाल खड़े हो गए हैं।

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