सार
अभिनेत्री से राजनेता बनीं साउथ एक्ट्रेस खुशबू सुंदर ने सोमवार को कांग्रेस से इस्तीफा देकर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को जॉइन कर ली है। वे कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता थीं। उन्होंंने कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी को अपना इस्तीफा भेजा था।
नई दिल्ली. अभिनेत्री से राजनेता बनीं साउथ एक्ट्रेस खुशबू सुंदर ने सोमवार को कांग्रेस से इस्तीफा देकर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को जॉइन कर ली है। वे कांग्रेस की राष्ट्रीय प्रवक्ता थीं। उन्होंंने कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी को अपना इस्तीफा भेजा था। इस्तीफे में उन्होंने आरोप लगाया है कि तमिलनाडु में पार्टी में उच्च पदों पर बैठे लोग, जिनकी ग्राउंड पर कोई पकड़ नहीं है,वे हम जैसे लोगों पर तानाशाही कर हमें काम नहीं करने दे रहे हैं।
इस्तीफे के बाद से ही अटकलें तेज हो गईं थीं कि खुशबू सुंदर किसी भी वक्त बीजेपी में शामिल होकर पार्टी की सदस्यता ग्रहण कर सकती हैं। इस्तीफा देने के बाद ही वह दिल्ली के लिए रवाना भी हो गईं।
मुझे राष्ट्रीय प्रवक्ता बनाने के लिए कांग्रेस का शुक्रिया
खुशबू ने अपने इस्तीफे में कांग्रेस पार्टी को धन्यवाद देते हुए लिखा कि पार्टी ने उन्हें कईं अहम मौकों पर जवाबदारी संभालने का अवसर दिया है। खुशबू ने कहा कि पार्टी ने मुझे राष्ट्रीय प्रवक्ता के रूप में जिम्मेदारी देकर देश सेवा का मौका दिया है।
नाम और शोहरत के लिए कभी पार्टी जॉइन नहीं की - खुशबू
खुशबू ने लिखा कि उन्होंने एक ऐसे समय में कांग्रेस पार्टी में कदम रखा था जब वह भाजपा से साल 2014 के आम चुनावों में बुरी तरह हारी थीं। उन्होंने कहा कि "मैंने कभी भी पद,प्रतिष्ठा या नाम कमाने के लिए कांग्रेस पार्टी जॉइन नहीं की। पार्टी में कुछ उच्च पदों पर बैठे लोग, जिनकी ग्राउंड पर कोई पकड़ नहीं है,वे हम जैसे लोगों की आवाज को दबा रहे हैं और तानाशाही कर हमे काम नहीं करने दे रहे हैं। इसलिए मैंने कांग्रेस पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देने का फैसला किया है। "
राहुल के प्रति जताया सम्मान
खुशबू ने कांग्रेस पार्टी के साथ ही पार्टी के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी को भी धन्यवाद देते हुए लिखा कि मुझे पार्टी में कईं अवसर प्रदान करने पर आपका शुक्रिया, मेरे लिए आपका सम्मान हमेशा बरकरार रहेगा।
डीएमके से आई थीं कांग्रेस में
गौरतलब है कि खुशबू सुंदर कई पार्टियों से जुड़ी रही हैं। वह 2010 में डीएमके में शामिल हुई थीं, तब डीएमके सत्ता में थी। हालांकि, चार साल बाद जब खुशबू सुंदर ने डीएमके छोड़ी, तो कहा था कि डीएमके के लिए कड़ी मेहनत एक तरफा रास्ता था। उसी साल 2014 में खुशबू, सोनिया गांधी से मिलने के बाद कांग्रेस में शामिल हो गई थी। उन्होंने 2014 में लोकसभा चुनाव लड़ा था। हालांकि, इसमें उन्हें हार का सामना करना पड़ा था।
2019 में टिकट नहीं मिलने से नाराज थीं खुशबू
कांग्रेस में शामिल होने के बाद खुशबू सुंदर ने कहा था कि मुझे लगता है कि मैं घर पर हूं। कांग्रेस एकमात्र ऐसी पार्टी है जो भारत के लोगों के लिए अच्छा कर सकती है और देश को एकजुट कर सकती है। हालांकि, खुशबू को 2019 के लोकसभा चुनावों के लिए टिकट नहीं मिला था जिसके बाद से ही वह पार्टी नाराज चल रही थीं।