- Home
- National News
- बिलबोर्ड पर टूटी कारें क्यों खड़ी हैं? CARS24 का नशे में ड्राइविंग के खिलाफ चौंकाने वाला अभियान
बिलबोर्ड पर टूटी कारें क्यों खड़ी हैं? CARS24 का नशे में ड्राइविंग के खिलाफ चौंकाने वाला अभियान
Reality Check: नशे में ड्राइविंग के खिलाफ CARS24 ने चौंकाने वाला अभियान शुरू किया है। दिल्ली, गुरुग्राम और पुणे में बिलबोर्ड पर असली एक्सीडेंट कारें रखकर लोगों को यह दिखाया जा रहा है कि एक गलत फैसला ज़िंदगी बदल सकता है।

क्या एक झटका किसी की जान बचा सकता है?
CARS24 Road Safety Campaign: नए साल का जश्न, पार्टी, दोस्तों के साथ मस्ती… लेकिन एक गलत फैसला ज़िंदगी भर का दर्द दे सकता है। इसी कड़वी सच्चाई को सामने लाने के लिए CARS24 ने एक ऐसा अभियान शुरू किया है, जिसने लोगों को रुककर सोचने पर मजबूर कर दिया है। दिल्ली, गुरुग्राम और पुणे जैसे बड़े शहरों में अब बिलबोर्ड पर कोई चमकदार विज्ञापन नहीं, बल्कि असली दुर्घटनाग्रस्त कारें दिखाई दे रही हैं। यह कोई फिल्मी सीन नहीं, बल्कि नशे में ड्राइविंग के असली और भयानक नतीजों की सीधी झलक है।
बिलबोर्ड पर असली टूटी कारें क्यों लगाई गईं?
CARS24 ने इस बार चेतावनी को शब्दों तक सीमित नहीं रखा। 29 दिसंबर से शुरू हुई इस पहल के तहत, शहर के रोज़ाना आने-जाने वाले इलाकों में असली एक्सीडेंट वाली कारों को बिलबोर्ड पर रखा गया है। ये कारें किसी डिजाइन या ग्राफिक्स का हिस्सा नहीं हैं, बल्कि सड़क हादसों का वास्तविक मलबा हैं। इस अभियान का मकसद डर दिखाना नहीं, बल्कि हकीकत दिखाना है, ताकि लोग एक पल रुकें और सोचें-क्या एक ड्रिंक इतनी बड़ी कीमत वसूल सकती है?
नशे में ड्राइविंग कितनी बड़ी समस्या है?
नशे में गाड़ी चलाना आज पूरे भारत में सड़क सुरक्षा की सबसे बड़ी चुनौतियों में से एक बन चुका है। सिर्फ नए साल की पूर्व संध्या 2024 की एक ही रात में, देशभर में सैकड़ों लोग नशे में ड्राइविंग करते पकड़े गए।
आंकड़े जो झकझोर देते हैं?
अनुमानों के मुताबिक, 2024 में करीब 14,390 सड़क दुर्घटनाएं नशे में ड्राइविंग से जुड़ी रहीं, जिनमें 6,500 से ज्यादा लोगों की मौत हुई। वहीं, सड़क परिवहन मंत्रालय के अनुसार 2023 में ही 9,143 शराब से जुड़े हादसे और 3,674 मौतें दर्ज की गई थीं। ये आंकड़े बताते हैं कि यह समस्या किसी एक शहर या राज्य तक सीमित नहीं है।
CARS24 कंपनी क्या कहना चाहती है?
CARS24 के को-फाउंडर और ग्रुप CMO गजेंद्र जांगिड़ ने कहा कि ड्राइविंग के दौरान लिया गया हर फैसला मायने रखता है। “ड्रिंक एंड ड्राइव सिर्फ जागरूकता नहीं, बल्कि जवाबदेही का मुद्दा है। अगर यह पहल किसी एक व्यक्ति को भी चाबियां नीचे रखने पर मजबूर कर देती है, तो हमारा उद्देश्य पूरा हो जाता है।”
क्या जश्न ज़िंदगी से बड़ा हो सकता है?
CARS24 का यह अभियान याद दिलाता है कि पार्टी एक रात की होती है, लेकिन उसका गलत फैसला जीवन भर का दर्द बन सकता है। जिम्मेदार ड्राइविंग, सुरक्षित सड़कें और बेहतर व्यवहार ही असली जश्न है। यह पहल न सिर्फ एक विज्ञापन है, बल्कि एक सख्त चेतावनी भी-कोई भी जश्न ज़िंदगी से ज़्यादा कीमती नहीं है।

