Drug Trafficking: दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच के ANTF (Anti Narcotics Task Force) ने ड्रग्स तस्करी के बड़े रैकेट का भंडाफोड़ किया है। सीमा पार से मादक पदार्थों की तस्करी के रैकेट में अफगानिस्तान, पाकिस्तान, पंजाब, जम्मू और कश्मीर, मेवात और दिल्ली-एनसीआर के अपराधी शामिल हैं।
ANTF ने 'ऑपरेशन क्लीन स्वीप' नाम से अभियान चलाया है। इसके तहत रविवार तक 10 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। एक आरोपी ने पुलिस को बताया है कि वह हेरोइन सप्लायर से संपर्क करने के लिए ऑनलाइन गेम PUBG का इस्तेमाल करता था। पुलिस ने 1667 ग्राम बेहतरीन क्वालिटी की अफगानिस्तान में बनी हेरोइन और 130 ग्राम संदिग्ध रासायनिक पदार्थ जब्त किया है। इसके साथ ही महत्वपूर्ण डिजिटल सबूत और अवैध नकदी भी जब्त की गई है। अधिकारियों ने जांच के लिए 10 करोड़ रुपए से अधिक मूल्य की 5 संपत्तियों की पहचान की है।
ड्रग तस्करों तक कैसे पहुंची पुलिस?
डीसीपी अपूर्व गुप्ता की निगरानी में एसीपी अनिल शर्मा के नेतृत्व वाली टीम ने जम्मू-कश्मीर के श्रीनगर में रहने वाले 37 साल के फहीम फारूक को पकड़ा। पुलिस को खुफिया सूचना मिली थी कि फहीम अंतरराष्ट्रीय ड्रग तस्कर गिरोह से जुड़ा है। इसके बाद पुलिस ने जाल बिछाया और दिल्ली के लाजपत नगर इलाके से फहीम को गिरफ्तार कर लिया।
पुलिस ने फहीम के पास से 996 ग्राम हाई-ग्रेड हेरोइन और 1,65,000 रुपए नगद जब्त किया। पुलिस को शक है कि पैसे ड्रग्स बेचने से मिले। फहीम ने पुलिस को बताया कि उनके पिता गहना बेचते थे। उन्हें घाटा हुआ था। इसके बाद वह हेरोइन की सप्लाई करने लगा।
शाजिया पीर के लिए काम करता था फहीम
फहीम ने पुलिस को बताया कि वह शाजिया पीर के लिए काम करता है। वह ड्रग्स तस्कर गिरोह की मुखिया है। वह उसे बताती थी कि किससे ड्रग्स लेना है। वह पंजाब के हैरी नामक सप्लायर से ड्रग्स मंगाती थी।
फहीम से पूछताछ के बाद पुलिस ने दिल्ली के जंगपुरा एक्सटेंशन में शाजिया के घर पर छापा मारा। वह घर में नहीं मिली। बाद में पुलिस ने उसका पता लगाया और उसे गिरफ्तार कर लिया। जांचकर्ताओं ने उसके पास से एक मोबाइल फोन बरामद किया। इसमें सीमा पार के ड्रग सप्लायरों के कॉन्टैक्ट डिटेल्स थे।
फहीम को पंजाब से ड्रग्स लाने के लिए मिलते थे 50 हजार रुपए
शाजिया मूल रूप से श्रीनगर की है। उसने अफगानिस्तान, यूके, अमेरिका और पंजाब में स्थित सहयोगियों के साथ अपने संबंधों का खुलासा किया है। उसके सहयोगियों की पहचान सोहराब, हाफिज और हैरी के रूप में हुई है। उसने स्वीकार किया कि वह फहीम का इस्तेमाल पंजाब से ड्रग्स की खेप दिल्ली मंगाने के लिए करती थी। प्रति खेप 50 हजार रुपए देते थी।
शाजिया ने पुलिस को बताया कि भारत में ड्रग्स अफगानिस्तान से पाकिस्तान और जम्मू-कश्मीर के रास्ते लाया जाता है। उसने जावेद के माध्यम से दिल्ली में ड्रग्स बेचे। पुलिस ने छापेमारी कर जावेद को भी गिरफ्तार कर लिया है।
लुधियाना के प्रकाश नगर में रहने वाले परमिंदर सिंह देओल उर्फ हैरी की गिरफ्तारी से गिरोह का पंजाब कनेक्शन सामने आया है। हैरी की पहचान मुरथल के एक ढाबे पर लगे सीसीटीवी फुटेज से हुई। यहां उसने फहीम को हेरोइन दिया था। क्राइम ब्रांच की टीम ने बैंक अधिकारी बनकर हैरी की तकनीकी और मैनुअल निगरानी की। इसके बाद उसे गिरफ्तार किया गया। उसपर पहले भी चोरी, डकैती और हथियार रखने समेत कई मामले दर्ज हैं।
उसके फोन से पाकिस्तान, अफगानिस्तान और यूके में ड्रग तस्करों के साथ चैट का पता चला। उसने यह भी खुलासा किया कि जम्मू-कश्मीर और दिल्ली में भेजे जाने से पहले पाकिस्तान के रास्ते अफगानिस्तान से पंजाब में नशीले पदार्थों की तस्करी की जाती थी। उसने सलविंदर सिंह, रवि शेर सिंह और वरिंदर सिंह सहित अन्य गुर्गों के नाम भी बताए। पुलिस ने अमृतसर और तरनतारन में छापेमारी कर सभी को गिरफ्तार किया।