सार

6 अगस्त को श्रावण शुक्ल नवमी तिथि रहेगी। शनिवार को पहले विशाखा नक्षत्र होने से शुभ और उसके बाद अनुराधा नक्षत्र होने से अमृत नाम के 2 योग इस दिन बनेंगे। इसके अलावा इस दिन शुक्ल और ब्रह्म नाम के 2 अन्य योग भी रहेंगे। इस दिन राहुकाल सुबह 09:17 से 10:55 तक रहेगा।   

 

उज्जैन. पंचांग पुरातन समय का कैलेंडर है, जिसमें तिथि, नक्षत्र, ग्रह, वार आदि की जानकारी विस्तारपूर्वक बताई जाती है। हिंदू धर्म में किसी भी शुभ कार्य से पहले मुहूर्त देखने की परंपरा है। ज्योतिषियों के अनुसार, पंचांग के 5 अंग बताए गए हैं, इनमें नक्षत्र, वार, करण, योग व तिथि शामिल है। इन सभी को मिलाकर हर दिन का एक अलग पंचांग बनाया जाता है। पंचांग में दैनिक शुभ-अशुभ मुहूर्त, राहुकाल आदि की जानकारी भी प्राप्त हो सकती है। आगे जानिए आज के पंचांग से जुड़ी खास बातें…

6 अगस्त का पंचांग (Aaj Ka Panchang 6 August 2022)
6 अगस्त 2022, दिन शुक्रवार को श्रावण मास के शुक्ल पक्ष की नवमी तिथि रहेगी। इस दिन सूर्योदय विशाखा नक्षत्र में होगा, जो शाम 05.51 तक रहेगा। इसके बाद अनुराधा नक्षत्र आरंभ हो जाएगा। शनिवार को पहले विशाखा नक्षत्र होने से शुभ और उसके बाद अनुराधा नक्षत्र होने से अमृत नाम के 2 योग इस दिन बनेंगे। इसके अलावा इस दिन शुक्ल और ब्रह्म नाम के 2 अन्य योग भी रहेंगे। इस दिन राहुकाल सुबह 09:17 से 10:55 तक रहेगा। इस दौरान कोई भी शुभ काम न करें।   

ग्रहों की स्थिति कुछ इस प्रकार रहेगी...
शुक्रवार को चंद्रमा तुला राशि से निकलकर वृश्चिक राशि में प्रवेश करेगा। इस दिन बुध ग्रह सिंह राशि में, सूर्य कर्क राशि में, शुक्र मिथुन राशि में, शनि मकर राशि (वक्री), मंगल-राहु मेष राशि में, गुरु मीन राशि में (वक्री) और केतु तुला राशि में रहेंगे। शनिवार को पूर्व दिशा में यात्रा करने से बचना चाहिए। पूर्व दिशा में यात्रा करना पड़े तो अदरक, उड़द या तिल खाकर घर से निकलें।

6 अगस्त के पंचांग से जुड़ी अन्य खास बातें
विक्रम संवत- 2079
मास पूर्णिमांत- श्रावण
पक्ष- शुक्ल
दिन- शनिवार
ऋतु- वर्षा
नक्षत्र- विशाखा और अनुराधा
करण- बालव और कौलव 
सूर्योदय - 6:03 AM
सूर्यास्त - 7:02 PM
चन्द्रोदय - Aug 06 1:33 PM
चन्द्रास्त - Aug 07 12:42 AM 
अभिजीत मुहूर्त - 12:06 PM – 12:58 PM

6 अगस्त का अशुभ समय (इस दौरान कोई भी शुभ काम न करें)
यम गण्ड - 2:10 PM – 3:47 PM
कुलिक - 6:03 AM – 7:40 AM
दुर्मुहूर्त - 07:47 AM – 08:39 AM
वर्ज्यम् - 09:38 PM – 11:08 PM

सुख-संपत्ति का कारक है शुक्र ग्रह
ज्योतिष शास्त्र में शुक्र ग्रह को एक शुभ ग्रह माना गया है। शुक्र वृषभ और तुला राशि का स्वामी है और मीन इसकी उच्च राशि है, जबकि कन्या नीच राशि। शुक्र को 27 नक्षत्रों में से भरणी, पूर्वा फाल्गुनी और पूर्वाषाढ़ा नक्षत्रों का स्वामित्व प्राप्त है। ग्रहों में बुध और शनि शुक्र के मित्र ग्रह हैं और सूर्य व चंद्रमा शत्रु ग्रह। शुक्र हर 23 दिन में राशि बदलता है।  शुक्र ग्रह को भौतिक सुख, वैवाहिक सुख, भोग-विलास, शौहरत, कला, रोमांसऔर फैशन-डिजाइनिंग का कारक माना जाता है। 


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