सार

29 जुलाई को श्रावण शुक्ल प्रतिपदा तिथि रहेगी। इस दिन पहले पुष्य नक्षत्र होने से उत्पात और उसके बाद आश्लेषा नक्षत्र होने से मृत्यु नाम के 2 अशुभ योग बनेंगे। इनके अलावा इस दिन सिद्धि नाम का शुभ योग भी रहेगा। राहुकाल सुबह 10:54 से दोपहर 12:33 PM तक रहेगा। 
 

उज्जैन. हिन्दू पंचांग के अनुसार एक माह को चन्द्र कला के आधार पर 15-15 दिन के 2 पक्षों में बांटा गया है- शुक्ल पक्ष और कृष्ण पक्ष। पंचांग के माध्यम से आप आसानी से हर दिन के शुभ मुहूर्त, राहु काल व ग्रहों के परिवर्तन के बारे में जान सकते हैं। पंचांग में आज कौन-सी तिथि और नक्षत्र तथा उनसे बनने वाले शुभ-अशुभ योगों की जानकारी भी दी जा सकती है। ये जानकारी आपके लिए उपयोगी साबित हो सकती है। आगे जानिए आज के पंचांग से जुड़ी खास बातें…

29 जुलाई का पंचांग (Aaj Ka Panchang 29 July 2022)
29 जुलाई 2022, दिन शुक्रवार को श्रावण मास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा तिथि रहेगी। शुक्रवार को सूर्योदय पुष्य नक्षत्र में होगा, जो सुबह 09.47 तक रहेगा। इस दिन सूर्योदय पुष्य नक्षत्र में होगा। इसके बाद आश्लेषा नक्षत्र दिन भर रहेगा। शुक्रवार को पहले पुष्य होने से उत्पात और उसके बाद आश्लेषा नक्षत्र होने से मृत्यु नाम के 2 अशुभ योग इस दिन बन रहे हैं। इनके अलावा इस दिन सिद्धि नाम का शुभ योग भी रहेगा। इस दिन राहुकाल सुबह 10:54 से दोपहर 12:33 PM तक रहेगा। इस दौरान कोई भी शुभ काम न करें।   

ग्रहों की स्थिति कुछ इस प्रकार रहेगी...
शुक्रवार को गुरु ग्रह अपनी ही राशि मीन में वक्री हो जाएगा। इस दिन चंद्रमा कर्क राशि में, सूर्य-बुध कर्क राशि में, शुक्र मिथुन राशि में, शनि मकर राशि (वक्री), मंगल-राहु मेष राशि में और केतु तुला राशि में रहेंगे। शुक्रवार को पश्चिम दिशा में यात्रा नहीं करनी चाहिए। अगर यात्रा करना जरूरी हो तो जौ या राईं खाकर घर से बाहर निकलें।

28 जुलाई के पंचांग से जुड़ी अन्य खास बातें
विक्रम संवत- 2079
मास पूर्णिमांत- श्रावण
पक्ष- शुक्ल
दिन- शुक्रवार
ऋतु- वर्षा
नक्षत्र- पुष्य और आश्लेषा
करण- किस्तुघन और बव
सूर्योदय - 6:00 AM
सूर्यास्त - 7:06 PM
चन्द्रोदय - Jul 29 6:10 AM
चन्द्रास्त - Jul 29 7:55 PM
अभिजीत मुहूर्त - 12:07 PM – 12:59 PM

29 जुलाई का अशुभ समय (इस दौरान कोई भी शुभ काम न करें)
यम गण्ड - 3:50 PM – 5:28 PM
कुलिक - 7:38 AM – 9:16 AM
दुर्मुहूर्त - 08:37 AM – 09:29 AM, 12:59 PM – 01:51 PM
वर्ज्यम् - 11:53 PM – 01:38 AM

ब्रह्म योग (Braham Yoga)
ज्योतिष शास्त्र में 27 शुभ-अशुभ योगों के बारे में बताया गया है। ये पंचांग के 5 अंगों में से एक है। इनमें से पच्चीसवें योग का नाम ब्रह्म है। ये योग बहुत ही शुभ माना गया है। जब किसी की कुंडली में गुरु और शुक्र 9 वें और 11 वें भावों में होते हैं तो ये योग बनता है। जिस व्यक्ति की कुंडली में ये होता है वो आध्यात्मिक या धार्मिक गुरु होता है। ऐसा व्यक्ति वैराग्य की राह पर चलता हुआ अपने शिखर तक पहुंचता है। ये लोगों के लिए प्रेरणा होते हैं।


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