- Home
- Viral
- लुहार ने बनाया टीन-टप्पर की जुगाड़ से देसी गीजर,10 मिनट में गर्म कर देता है पूरे घर के लिए पानी
लुहार ने बनाया टीन-टप्पर की जुगाड़ से देसी गीजर,10 मिनट में गर्म कर देता है पूरे घर के लिए पानी
दिल्ली. उत्तर भारत की ठंड अच्छे-खासों को ठिठुरा देती है, चाहे वो कोई भी हो। ठंड में खुली सड़क पर धरना-प्रदर्शन करना किसी कठिन तपस्या से कम नहीं है। खैर, इस आंदोलन के दौरान जहां किसानों की सुख-सुविधा के लिए हाईटेक मशीनें या अन्य साधन पहुंचाए गए हैं, वहीं यहां गर्म पानी के लिए मंगाए गए देसी गीजर सोशल मीडिया की सुर्खियों में छा गए हैं। ये गीजर बिना बिजली के और कम लकड़ियों के ईंधन पर चलते हैं। ये गीजर 20 से 40 लीटर की क्षमता वाले हैं। एक बार में इसमें 10-15 मिनट में 5 जनों के लिए पानी गर्म किया जा सकता है। आइए जानते हैं गीजर के बारे में...
| Published : Dec 16 2020, 05:21 PM IST / Updated: Dec 16 2020, 05:23 PM IST
- FB
- TW
- Linkdin
बताते हैं कि इस गीजर का आविष्कार पंजाब में हुआ था। लेकिन इसे प्रसिद्धि मिली राजस्थान आकर। इसके बारे में कहानी है कि झुंझुनूं जिले के सुल्ताना गांव में रहने वाले किसी लुहार ने इसे पंजाब में देखा। वहां से लौटकर इसे ये गीजर बनाना शुरू किए। इसके बाद शेखावाटी में इसे पॉपुलर कर दिया।
देसी गीजर को अपने परिवार के सदस्यों की संख्या के हिसाब से बनवाया जा सकता है। छोटा परिवार है, तो छोटा गीजर और बड़ा परिवार है, तो बड़ी साइज का गीजर।
यह है गीजर का बेस। इसकी खासियत यह है कि इसमें ईंधन जलने पर राख अपने आप नीचे गिरती जाती है।
इस गीजर में किसी भी तरह का ईंधन उपयोग किया जा सकता है। जैसे-गीली लकड़ी, कंडे, कागज, गत्ते, प्लास्टिक और सूखे पत्ते। यानी घर का कचरा इसमें इस्तेमाल किया जा सकता है।
इसमें ईंधन जलने पर राख स्टैंड से होकर नीचे गिरती है। इसमें आग जलने पर हवा नीचे जाली से होकर ऊपर लगी चिमनी से होकर निकलती है। इससे आग बुझती नहीं है। इसमें 4-5 घंटे तक पानी गर्म रहता है।