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पीएम मोदी ने काफिले के साथ खुली जीप से लिया टनल के अंदर का जायजा, 15 बुजुर्गों को कराया पहला सफर
नई दिल्ली. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार 3 अक्टूबर को रोहतांग अटल टनल का उद्घाटन किया। यह मनाली को लेह से जोड़ने वाली पहली दुनिया की सबसे बड़ी टनल है। इस टनल की वजह से मनाली और लेह के बीच की दूरी 46 किमी कम हो गई है। इसे बनाने में 10 साल का वक्त लगा है। पीएम मोदी ने इसका उद्घाटन करने के बाद इसका अंदर से जायजा लिया।
| Published : Oct 03 2020, 12:47 PM IST / Updated: Oct 03 2020, 12:59 PM IST
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पीएम नरेंद्र मोदी ने दक्षिणी छोर से उत्तरी छोर पर इसका सफर अपने काफिले के साथ किया, जिसकी तस्वीरें ट्विटर पर शेयर की गई हैं। बता दें, दक्षिण छोर पर मनाली और उत्तरी छोर पर लद्दाख मौजूद है।
पीएम मोदी अपने काफिले के बाद खुली जीप में नॉर्थ पोर्टल की तरफ आगे बढ़े। छोटे-छोटे अंतराल के बाद इस टनल में सीसीटीवी कैमरे लगे हैं, जिससे निगरानी की जाएगी।
अटल टनल का उत्तरी छोर, जिसे नॉर्थ पोर्टल कहते हैं। पीएम मोदी ने खुली जीप में टनल का अवलोकन किया। इस दौरान उन्होंने हाथ हिलाकर लोगों का अभिवादन स्वीकार किया। टनल के दूसरी छोर पर राजनाथ सिंह पहले से मौजूद थे। वह पीएम मोदी के स्वागत के लिए वहां पहले से ही वहां मौजूद थे।
टनल के उत्तरी छोर पर पीएम मोदी। यहां पर पीएम मोदी हरी झंडी दिखाकर यात्रियों को रवाना करेंगे। टनल में यात्रा पहले वाले यह विशिष्ट यात्री हैं। इसमें 15 बुजुर्गों को उत्तरी छोर से दक्षिणी छोर की यात्रा कराया जाएगा।
बस में सफर करने वाले बुजुर्गों की सूची में रामदेव कपूर अटल बिहारी वाजपेयी के दोस्त टशी दावा उर्फ अर्जुन गोपाल के पुत्र हैं।
उनके साथ बस में तेंजिन दोर्जे, देवीचंद, नोरबू राम, रमेश कुमार और पमाराम भी हैं। टशी फुंचोंग, रामलाल, दोर्जेराम, प्रेम लाल, रामदेव कपूर, भुमिचंद, अभयचंद, रामकृष्ण, रिगजिन आंगदुई और गोविंद भी इन यात्रियों में शामिल हैं।
उत्तरी छोर से पीएम मोदी लाहौल-स्पीति के सिस्सू में एक जनसभा को भी संबोधित किया। यहां सोशल डिस्टेंसिंग का ख्याल रखते हुए सुनने वालों के लिए मंच से करीब 15 मीटर दूर कुर्सियां लगाई गई थीं।
टनल को पहले 2015 में बनकर तैयार हो जाना चाहिए था, लेकिन ये 2019 में बनकर तैयार हुई। ऐसे में पीएम मोदी ने अपने संबोधन में कांग्रेस सरकार पर बिना नाम लिए निशाना साधा और कहा कि 'जिस स्पीड से काम हो रहा था वैसे होता तो 2040 तक टनल बन पाती।'
15 बुजुर्गों की बस को हरि झंडी दिखाते हुए पीएम मोदी।