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Fact Check: क्या भारत बायोटेक के उपाध्यक्ष को दी कोरोना वैक्सीन की पहली डोज? जानें सच
फैक्ट चेक डेस्क. Bharat Biotech vice president First Covaxin Dose fact Chek: इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) और भारत बायोटेक इंटरनेशनल लिमिटेड (BBIL) मिलकर 15 अगस्त तक आम जनता के लिए 'कोवाक्सिन' नाम की एक स्वदेशी एंटी-कोविड वैक्सीन लॉन्च कर सकते हैं। इससे एक तरफ खुशखबरी है तो दूसरी तरफ फेक खबरें भी फैल रही हैं। सोशल मीडिया पर एक तस्वीर वायरल हो रही है, जिसमें देखा जा सकता है कि मेडिकल गियर में एक महिला एक पुरुष को इंजेक्शन लगा रही है। तस्वीर के साथ दावा किया जा रहा है कि ह्यूमन ट्रायल के दौरान कोरोना वैक्सीन की पहली खुराक बीबीआईएल के उपाध्यक्ष वीके श्रीनिवास को दी गई है।
फैक्ट चेकिंग में आइए जानते हैं कि आखिर सच क्या है
| Published : Jul 05 2020, 07:59 PM IST / Updated: Jul 05 2020, 08:38 PM IST
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कोरोना की वैक्सीन बनने की खबर के साथ इस तस्वीर को धड़ाधड़ शेयर किया जा रहा है। हर कोई कॉपी पेस्ट मैसेज करके तस्वीर आगे बढ़ा दे रहा है। हालांकि भारत बायोटेक ने खुद तस्वीर से जुड़ी सच्चाई सामने रखी।
वायरल पोस्ट क्या है?
कई ट्विटर और फेसबुक यूजर्स ने इस तस्वीर को पोस्ट करते हुए कैप्शन में लिखा है, 'कोरोना वैक्सीन लेते हुए भारत बायोटेक के उपाध्यक्ष डॉ वीके श्रीनिवास। क्लीनिकल ट्रायल पहली खुराक लेने के तुरंत बाद उन्होंने कहा कि भारत बायोटेक में उनके और उनकी टीम द्वारा विकसित वैक्सीन लेने वाले वे भारत के पहले व्यक्ति हैं। उनके प्रोडक्ट को लेकर उनमें जो आत्मविश्वास है, उसे देखिए।'
क्या दावा किया जा रहा है?
दावा किया जा रहा है कि कोरोना की वैक्सीन बनने के बाद पहला डोज ट्रायल खुद भारत बायोटेक के उपाध्यक्ष के ऊपर किया गया। इसी दावे के साथ यह तस्वीर ट्विटर और Facebook पर कई लोगों ने शेयर की है।
फैक्ट चेक
फैक्ट चेकिंग जांच पड़ताल में यह दावा भ्रामक निकला। भारत बायोटेक ने इस बात से इनकार किया है कि यह तस्वीर उनके कोविड-19 वैक्सीन के क्लीनिकल ट्रायल की है। कंपनी ने कहा कि यह वायरल तस्वीर 'सभी प्रोडक्शन स्टाफ की नियमित जांच के लिए ब्लड सैंपल लेने के दौरान की है।'
यह तस्वीर वायरल होने के कुछ ही देर बाद भारत बायोटेक ने ट्वीट करके इस दावे का खंडन किया। खंडन में कहा गया, 'व्हाट्सऐप और अन्य सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर कुछ तस्वीरें और मैसेज प्रसारित हो रहे हैं, जिन्हें भारत बायोटेक की ओर से प्रसारित नहीं किया गया है। जो तस्वीर वायरल हो रही है, वह सभी प्रोडक्शन कर्मचारियों की नियमित जांच के लिए ब्लड लेने की प्रक्रिया से संबंधित है।'
भारत बायोटेक के चेयरमैन और एमडी डॉ कृष्णा इला ने मीडिया को दिए एक इंटरव्यू में कहा था कि वैक्सीन का ह्यूमन ट्रायल 10 दिनों में शुरू होना चाहिए।
भारत बायोटेक के मुताबिक, प्री-क्लीनिकल ट्रायल में वैक्सीन के नतीजे बेहतर मिले हैं। भारत में बारत बायोटेक के अलावा देश की पांच और फार्मा कंपनियां वैक्सीन तैयार करने में लगी हैं।
ये निकला नतीजा
इससे यह निष्कर्ष निकलता है कि एंटी-कोविड वैक्सीन 'कोवाक्सिन' के ह्यूमन ट्रायल में पहली खुराक भारत बायोटेक के उपाध्यक्ष डॉ वीके श्रीनिवास को दिए जाने का दावा भ्रामक है। वायरल तस्वीर प्रोडक्शन स्टाफ की जांच के लिए नियमित रूप से ब्लड लिए जाने के दौरान की है।